राजस्थान मे परिवहन (Trasportation in rajasthan)
1)स्थल परिवहन
- भारतीय इतिहास में प्रथम सड़क निर्माता शेर शाह सुरी को कहा जाता है, उन्होंने 1540 में चटगांव (बांग्लादेश) से (काबुल) अफगानिस्तान तक 2500 किलोमीटर लंबी सड़क का निर्माण करवाया, इसे ग्रांड ट्रक रोड भी कहा जाता है, इसके अन्य नाम सडक ए आजम, उत्तरपथ एवं शाह राह ए आजम है,
- विश्व में आधुनिक सड़क का निर्माता जॉन लाउडन मैकएडम को कहा जाता है, यह स्काॅटिश सिविल इंजीनियर थे, इन्होने सडक निर्माण की किफायती विधि मैकडैमाइजेशन का आविष्कार किया।
- भारत में सड़क के आधुनिकीकरण हेतु प्रथम सडक योजना 1943-61 के मध्य नागपुर मे चलाई गई, इसलिए इसे नागपुर योजना भी कहा जाता है।
- राष्ट्रीय राजमार्गों की दृष्टि से राजस्थान का भारत में स्थान - प्रथम
- राजस्थान मे सडक घनत्व- 79.76km
- राष्ट्रीय सडक घनत्व - 161.71km
राजस्थान मे सड़कों के प्रकार
एक्सप्रेस वे (द्रुतगामी सड़कें)
- 6 लेन राजमार्ग को एक्सप्रेसवे कहा जाता है।
- एक्सप्रेस-वे का निर्माण, रखरखाव एवं संचालन केंद्र सरकार एवं भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) के द्वारा किया जाता है।
NH-48
- यह वर्तमान में राजस्थान से गुजरने वाला एकमात्र एक्सप्रेसवे है, भारत मे कुल 25 एक्सप्रेस वे है।
- यह राजस्थान के 7 जिलों एवं 5 जिला मुख्यालयों से गुजरता है।
- बहरोड (अलवर)
- जयपुर
- अजमेर
- भीलवाड़ा
- चित्तौड़गढ़
- उदयपुर
- रतनपुर (डूंगरपुर)
- (जिला मुख्यालय- जयपुर, अजमेर, भीलवाड़ा, चित्तौड़गढ़, उदयपुर)
- इसकी वर्तमान में राजस्थान में लंबाई 774 किलोमीटर है।
- राजस्थान का एकमात्र घूमता फिरता ट्रॉमा हॉस्पिटल इसी राजमार्ग पर स्थित है।
- यह राजस्थान के उदयपुर मे देबारी दर्रे से होकर गुजरता है।
- यह स्वर्णिम चतुर्भुज योजना का भाग है।
🔶️राष्ट्रीय राजमार्ग
- वे राजमार्ग जो राज्य या केंद्र शासित प्रदेश की राजधानियो, औद्योगिक शहरों,पर्यटन स्थलो, बंदरगाहो, विदेशी मार्गो एवं सामरिक महत्व के सभी स्थलों को जोड़ता है।
- राष्ट्रीय राजमार्गों का संचालन - केंद्र सरकार
- राष्ट्रीय राजमार्ग का निर्माण/रखरखाव - भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण(NHAI)
- राष्ट्रीय राजमार्ग के मील के पत्थर(KM दर्शाने वाला पत्थर) पर पीले रंग का प्रयोग किया जाता है।
- राजस्थान में कुल राष्ट्रीय राजमार्गों की संख्या - 47
- राजस्थान में राष्ट्रीय राजमार्गों की कुल लंबाई- 10618 Km है।
- राजस्थान का सबसे लंबा(748Km) राष्ट्रीय राजमार्ग - NH62
- राजस्थान का सबसे छोटा(4.7Km) राष्ट्रीय राजमार्ग - NH919
- पूर्णत: राजस्थान का सबसे लंबा राष्ट्रीय राजमार्ग - NH25
- पूर्णत: राजस्थान का सबसे छोटा राष्ट्रीय राजमार्ग - NH448
- वर्तमान में सर्वाधिक राष्ट्रीय राजमार्ग पाली व अजमेर जिलो से गुजरते हैं।
- राष्ट्रीय राजमार्गों की सर्वाधिक लंबाई उदयपुर जिले में है।
- राष्ट्रीय राजमार्गों की सबसे कम लंबाई हनुमानगढ़ एवं करौली जिले में है।
- स्वर्णिम चतुर्भुज मे शामिल राष्ट्रीय राजमार्ग- NH48, NH27
- उत्तर दक्षिण गलियारे मे शामिल राष्ट्रीय राजमार्ग- NH44
- पूर्व पश्चिम गलियारे में शामिल राष्ट्रीय राजमार्ग-NH27
- यह निम्न राष्ट्रीय राजमार्गो (NH48, NH44, NH21) की मदद से जयपुर, आगरा एवं दिल्ली सर्किट को एक त्रिकोण के रूप मे जोडता है।
![]() |
स्वर्णिम त्रिभुज |
NH-21
- यह राजस्थान के 3 जिलो व जिला मुख्यालयो से गुजरता है।
- जयपुर
- दौसा
- भरतपुर
- अंतिम बिंदु- बरेली (उ.प्र.)
- यह स्वर्णिम त्रिभुज का भाग है।
- घाट का घुणी सुरंग (जयपुर) से यह राष्ट्रीय राजमार्ग गुजरता है, यह भारत की पहली प्रदूषण रहित सुरंग है।
- केवलादेव घना पक्षी विहार राष्ट्रीय उद्यान इसी राष्ट्रीय राजमार्ग पर स्थित है।
- ताजमहल (आगरा), फतेहपुर सिकरी भी इसी राष्ट्रीय राजमार्ग पर स्थित है।
NH-44
यहां भारत का सबसे लंबा (3745km) राष्ट्रीय राजमार्ग है।
प्रारंभिक बिंदु- श्रीनगर (जम्मू कश्मीर)
यह राजस्थान के धौलपुर जिले से गुजरता है।
इसकी राजस्थान में लंबाई 28.29 Km है।
यह उत्तर दक्षिण गलियारे का भाग है।
NH -62
- यह राजस्थान के 7 जिलों व 6 जिला मुख्यालयों से गुजरता है।
- प्रारंभिक बिंदु- अबोर (पंजाब)
- गंगानगर
- रंगमहल (हनुमानगढ)
- बीकानेर
- नागौर
- जोधपुर
- पाली
- सिरोही
- (जिला मुख्यालय- गंगानगर, बीकानेर, नागौर, जोधपुर, पाली व सिरोही)
- यह राजस्थान से गुजरने वाला सबसे लंबा राष्ट्रीय राजमार्ग है।
NH-919
- यहां राजस्थान से गुजरने वाला सबसे छोटा राष्ट्रीय राजमार्ग है। इसकी लंबाई 4.7 किलोमीटर है।
- राजस्थान में अलवर जिले से गुजरता है।
NH-448
- यह किशनगढ़ (अजमेर) से नसीराबाद (अजमेर) तक विकसित है
- यह पुर्णतः राजस्थान में विकसित सबसे छोटा राष्ट्रीय राजमार्ग है।
NH-25
- पुर्णतः राजस्थान में विकसित सबसे बड़ा राष्ट्रीय राजमार्ग है।
- इसकी लंबाई 318.81 किमी है।
यहां राजस्थान के 3 जिलों से गुजरता है।
- बाडमेर
- जोधपुर
- पाली
- बाड़मेर में पचपदरा रिफाइनरी इसी राजमार्ग पर स्थित है।
NH-27
- प्रारंभिक बिंदु- पोरबंदर (गुजरात)
- यह राजस्थान के 7 जिलो व 4 जिला मुख्यालयो से होकर गुजरता है।
- सिरोही
- उदयपुर
- चित्तौड़गढ़
- भीलवाड़ा
- बांरा
- कोटा
- बुंदी
- अंतिम बिंदु- सिल्चर (असम)
- (जिला मुख्यालय- उदयपुर, चित्तौड़गढ़, बांरा, कोटा)
- राजस्थान के पहले हैंगिंग ब्रिज कोटा से यह राष्ट्रीय राजमार्ग गुजरता है।
- यह पूर्व पश्चिम गलियारे का भाग है।
NH -68
- यह राजस्थान के 3 जिलों एवं 2 जिला मुख्यालयों से गुजरता है.
- जैसलमेर
- बाडमेर
- सांचौर (जालौर)
- अंतिम बिंदु- कुबादरा (गुजरात)
- (जिला मुख्यालय- जैसलमेर व बाडमेर)
- राष्ट्रीय मरू उद्यान इसी राज्य मार्ग पर स्थित है।
NH-52
प्रारंभिक बिंदु - संगरूर (पंजाब)
यह राजस्थान के 7जिलो एवं जिला मुख्यालयों से गुजरता है।
चरू
सीकर
जयपुर
टोंक
कोटा
बुंदी
झालावाड़
अंतिम बिन्दु - आकोला (कर्नाटक)
यहा राष्ट्रीय राजमार्ग बूंदी सड़क सुरंग से होकर गुजरता है, बूंदी सड़क सुरंग राजस्थान की सबसे बड़ी 1076.5मी सडक सुरंग है
राजस्थान का तीसरा राष्ट्रीय उद्यान मुकुंदरा हिल्स इसी राजमार्ग पर स्थित है।
NH-58
- यह राजस्थान के 5 जिलों व 4 जिला मुख्यालयों से गुजरता है।
- (रतनगढ) चुरू
- नागौर
- अजमेर
- राजसमंद
- उदयपुर
- (जिला मुख्यालय- नागौर, अजमेर, राजसमन्द, उदयपुर)
- अंतिम बिंदु- खेडब्रम्मा (गुजरात)
- मेड़ता रोड पुष्कर शहर इसी राष्ट्रीय राजमार्ग पर स्थित है।
- कामलीघाट दर्रा (राजसमंद) व चिरवा घाट सुरंग इसी राष्ट्रीय राजमार्ग पर स्थित है।
NH-162 - पाली से ब्यावर
NH 552 - टोंक से सवाई माधोपुर
NH 712 - किशनगंज (बांरा) से अकरोला (झालावाड़)
NH 125 - पोकरण से जोधपुर
- रामदेवरा इसी राष्ट्रीय राजमार्ग पर स्थित है।
Pilot project- इस कार्यक्रम के तहत निम्न राष्ट्रीय राजमार्ग को दुर्घटना रहित किया जाएगा।
1) NH 48 व NH 448 - शाहजहांपुर से अजमेर
2) NH 25 - बर बिलाडा से जोधपुर
3) NH 11 व NH 52 - सीकर से बीकानेर
राज्य राजमार्ग
- राज्य राजमार्गों के मील के पत्थर पर हरे रंग का प्रयोग किया जाता है।
- राज्य राजमार्गों का संचालन - राज्य सरकार
- राज्य राजमार्गों का निर्माण एवं रखरखाव - पीडब्ल्यूडी
- राजस्थान में कुल 170 राज्य राजमार्ग है।
- राजस्थान में राज्य राजमार्गों की कुल लंबाई - 15544.95km
- राजस्थान का सबसे लंबा राज्य राजमार्ग - SH-1 (441km)
- राजस्थान का सबसे छोटा राज्य राजमार्ग - SH-111 (8km)
- राजस्थान का दूसरा सबसे छोटा राज्य राजमार्ग - SH-9B (11km)
मुख्य जिला सड़के व अन्य जिला सड़क
- इसके मील के पत्थर पर काले रंग का प्रयोग किया जाता है।
- इनका संचालन राज्य सरकार द्वारा किया जाता है।
- इनका निर्माण व रखरखाव पीडब्ल्यूडी द्वारा किया जाता है।
ग्रामीण सड़कें
- इसके मील के पत्थर पर लाल रंग का प्रयोग किया जाता है।
ग्रामीण गौरव पथ (GGP)
यह राजस्थान सरकार की एक प्रमुख योजना है, ग्राम गौरव पथ योजना का मुख्य उद्देश्य प्रत्येक ग्राम पंचायत मुख्यालय में स्वच्छ वातावरण बनाने के उद्देश्य से सीमेंट कंक्रीट सड़क और नाली का निर्माण करना है और प्रत्येक ग्राम पंचायत मुख्यालय में यात्रियों के लिए क्षति मुक्त सड़क भी उपलब्ध कराना है। इस योजना के तहत निर्मित सड़कों की लंबाई 0.50 किमी से 2.00 किमी तक है। प्रत्येक ग्राम पंचायत मुख्यालय पर 1.00 किमी सड़क का औसत निर्माण किया जाता है।
अन्य महत्वपूर्ण
- राजस्थान में प्रथम सड़क नीति -1994
- राजस्थान कि वर्तमान सड़क विकास नीति - 2013
- राजस्थान राज्य राजमार्ग अधिनियम - 2014
- राजस्थान में सड़कों की कुल लंबाई - 2,72959.28km
- राजस्थान में सड़कों की सर्वाधिक लंबाई- बाड़मेर
- राजस्थान में न्यूनतम सड़कों की लंबाई - धौलपुर
- राजस्थान में सर्वाधिक सड़क घनत्व - राजसमंद
- राजस्थान में न्यूनतम सड़क घनत्व -जैसलमेर
- राजस्थान में प्रथम राजकीय बस सेवा - टोंक, 1952
- इसका मुख्यालय जयपुर में है, इसकी स्थापना राजस्थान सरकार द्वारा 1 अक्टूबर 1964 को सड़क परिवहन अधिनियम 1950 के तहत की गई थी।
- राज्य भर में 56 डिपो और राज्य के बाहर 3 डिपो इंदौर, अहमदाबाद और दिल्ली है।
- राजस्थान में ग्रामीण रोडवेज बस सेवा - उदयपुर ,14 दिसंबर 2012
- राजस्थान लोक परिवहन सेवा - 13 नवंबर 2015
- निर्भया बस सेवा - 25 मई 2016
- RSBTDA अधिनियम 19/2015, 27 अप्रेल 2015 को राजस्थान राजपत्र में प्रकाशित हो चुका है। अधिनियम की धारा 4 द्वारा प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए राज्य सरकार द्वारा राजस्थान राज्य बस टर्मिनल विकास प्राधिकरण के गठन की अधिसूचना दिनांक 25.08़.2015 को जारी की गई है तथा प्राधिकरण का मुख्यालय जयपुर में है।
रेल परिवहन
- भारत मे सर्वप्रथम रेल 16 अप्रैल 1853 मे लोर्ड डलहोजी के शासनकाल मे बोरिबंदर (मुंबई) से थाने तक 33.81 किमी चलाई गई।
- वर्तमान में भारत की रेल प्रणाली विश्व की चौथी सबसे बड़ी रेल प्रणाली है।
- रेल मार्गों की दृष्टि से राजस्थान का उत्तर प्रदेश के बाद भारत में दूसरा स्थान है।
- राजस्थान मे प्रथम रेल 21 अप्रैल 1874 मे रामसिंह द्वितीय के काल मे जयपुर रियासत में बांदीकुई (दौसा) से आगरा फाॅर्ट तक 38 km चलाई गई।
- राजस्थान का प्रथम लोको मोटिव कारखाना - 11 अगस्त 1879
- स्वतंत्रता से पूर्व राजस्थान की बीकानेर और जोधपुर रियासत में निजी क्षेत्र में रेल मार्ग का विकास हुआ।
- भारत में रेल परिवहन का राष्ट्रीयकरण 1951 में हुआ।
- वर्तमान में राजस्थान में रेल मार्गों की कुल लंबाई - 67,956 km
राजस्थान में रेल मार्ग के प्रकार
1) ब्रॉडगेज रेल मार्ग
यदि पटरी के मध्य की दूरी 1.67 मीटर है तो उसे ब्रोडगेज रेल मार्ग कहा जाता है।
राजस्थान के कुल परिवहन का 82.92% ब्रॉड गेज रेल मार्ग है।
2) मीटरगेज रेल मार्ग
- यदि पटरी के मध्य की दूरी 1 मीटर है तो उसे मीटरगेज रेल मार्ग कहा जाता है।
3) नैरोगेज रेल मार्ग
- यदि पटरी के मध्य की दूरी 0.76 मीटर है तो उसे नैरोगेज रेल मार्ग कहा जाता है।
- वर्तमान में राजस्थान में सिर्फ धौलपुर जिले में नैरोगेज का संचालन है।
- भारत में कुल 17 रेलवे जोन एवं 73 रेलवे मंडल है।
- राजस्थान मे 1 रेलवे जोन का मुख्यालय है जिसे उत्तर पश्चिमी रेलवे जोन जयपुर कहा जाता है, 14 जून 2002 को इसकी स्थापना की गई।
राजस्थान में कुल 5 रेलवे मंडल है।
- जयपुर रेलवे मंडल
- जोधपुर रेलवे मंडल
- अजमेर रेलवे मंडल
- बीकानेर रेलवे मंडल
- कोटा रेलवे मंडल
रेलवे के संस्थान
- पश्चिमी क्षेत्रीय रेलवे प्रशिक्षण केंद्र की स्थापना उदयपुर में 09 अक्टूबर 1965 में की गई।
- भारतीय रेलवे परीक्षण एवं अनुसंधान केंद्र की स्थापना पचपदरा बाड़मेर में की गई।
- एशिया का सबसे बड़ा मीटर गेज यार्ड - फुलेरा (जयपुर)
रेल बस
- भारत की प्रथम रेल बस का नाम - इजारा,1939
- राजस्थान में प्रथम रेल बस मेड़ता (नागौर) में 2 अक्टूबर 1994 मे चलाई गई
शाहीं ट्रेनें
- पैलेस ऑन व्हील्स - भारतीय रेलवे द्वारा
- राजस्थान रॉयल ऑन व्हील - भारतीय रेलवे द्वारा
- फेयरी क्वीन - उत्तर पश्चिमी रेलवे जोन जयपुर के द्वारा शेखावटी की हवेलियों के पर्यटन के लिए।
मेट्रो रेल
- भारत में सर्वप्रथम मेट्रो रेल की शुरुआत - कोलकाता
- मेट्रो रेल का शिलान्यास 1972
- मेट्रो रेल संचालन 1975
- वर्तमान में भारत के 9 राज्य में मेट्रो रेल का संचालन किया जा रहा है।
जयपुर मेट्रो रेल
- 1 जनवरी 2010 में जयपुर मेट्रो रेल कॉरपोरेशन लिमिटेड की स्थापना हुई।
- 14 फरवरी 2011 को जयपुर में मेट्रो रेल का शिलान्यास किया गया।
- 3 जून 2015 से जयपुर में मेट्रो रेल का संचालन प्रारंभ किया गया।
- पहली मेट्रो रेल जयपुर में मानसरोवर से चांदपोल 9.63 Km/5.98मील तक चलाई गई।
- जयपुर मेट्रो रेल प्रणाली कोलकाता, दिल्ली एनसीआर, बैंगलोर, गुड़गांव और मुंबई के बाद भारत की छठी मेट्रो रेल प्रणाली है, जयपुर मेट्रो भारत में पहली मेट्रो है जो दो मंजिला एलिवेटेड रोड और मेट्रो ट्रैक पर चलती है।
पाइपलाइन
2)जल परिवहन
राजस्थान मे जल परिवहन नहीं है।
3) वायु परिवहन
- भारत में वायु परिवहन की शुरुआत 1911 में डाक सुविधा हेतु की गई के अंतर्गत सर्वप्रथम इलाहाबाद से नैनी तक डाक सुविधा शुरू की गई।
- राजस्थान में सर्वप्रथम वायु परिवहन की शुरुआत 1950 मे जयपुर व जोधपुर हुई।
- भारत में वायु सेवा उपलब्ध कराने के लिए इंडियन एयरलाइंस की शुरुआत की गई।
- अंतर्राष्ट्रीय वायु सेवा उपलब्ध कराने हेतु एयर इंडिया की शुरुआत की गई।
- 24 अगस्त 2004 को दोनों संस्थाओं का विलय करके नेशनल एविएशन कंपनी ऑफ इंडिया की स्थापना की गई, इसका ब्रांड नाम एयर इंडिया रखा गया।
- एयर इंडिया का मुख्यालय - नई दिल्ली
- एयर इंडिया का शुभंकर - महाराजा
राजस्थान में हवाई अड्डों के प्रकार
- राजस्थान का पहला ग्रीन फील्ड हवाई अड्डा - नीमराणा (अलवर)
नागरिक हवाई अड्डे
- वे हवाई अड्डे जिनका संचालन भारतीय विमानन प्राधिकरण द्वारा किया जाता है।
राजस्थान में कुल 5 नागरिक हवाई अड्डे हैं।
- सांगानेर हवाई अड्डा - जयपुर
- यह राजस्थान का पहला अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा है।
- यह भारत का 14 वां अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा है।
- इस हवाई अड्डे से सर्वप्रथम जयपुर से दुबई तक सेवाएं प्रारंभ की गई।
- महाराणा प्रताप हवाई अड्डा - (डबोक)उदयपुर
- यह राजस्थान का दूसरा अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा है।
- रातानाडा हवाई अड्डा - जोधपुर
- कोटा हवाई अड्डा - कोटा
- किशनगढ़ हवाई अड्डा - अजमेर
सेन्य हवाई अड्डे
- वह हवाई अड्डे जिनका संचालन भारतीय सेना द्वारा किया जाता है।
- राजस्थान में कुल 5 सैन्य हवाई अड्डे हैं।
- यह एशिया का पहला एवं सबसे बड़ा भूमिगत हवाई अड्डा है।
उत्तरलाई हवाई अड्डा - बाड़मेर
सूरतगढ़ हवाई अड्डा - गंगानगर
जैसलमेर हवाई अड्डा - जैसलमेर
फलौदी - जोधपुर
हवाई पट्टीया
- वे हवाई अड्डे जिनका संचालन राज्य सरकार द्वारा किया जाता है।
- वर्तमान में राजस्थान में कुल 20 हवाई पट्टियां है।
No comments:
Post a Comment
Comment us